आख़िर तक – एक नज़र में
- इसरो के उन्नत सैटेलाइट चक्रवात फेंगल की निगरानी कर रहे हैं।
- EOS-06 और INSAT-3DR सैटेलाइट महत्वपूर्ण डेटा प्रदान कर रहे हैं।
- EOS-06 स्कैटरोमीटर समुद्री पवन पैटर्न की जानकारी दे रहा है।
- INSAT-3DR सैटेलाइट चक्रवात की तीव्रता और दिशा पर नज़र रखता है।
- तमिलनाडु के निवासियों को सतर्क रहने और सुरक्षा निर्देशों का पालन करने की सलाह दी गई है।
आख़िर तक – विस्तृत समाचार
इसरो की उन्नत तकनीक का योगदान
भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) चक्रवात फेंगल की निगरानी के लिए EOS-06 और INSAT-3DR जैसे उन्नत सैटेलाइट का उपयोग कर रहा है। 23 नवंबर 2024 से इन सैटेलाइट्स ने महत्वपूर्ण डेटा उपलब्ध कराए हैं।
EOS-06 स्कैटरोमीटर की भूमिका
EOS-06 सैटेलाइट का स्कैटरोमीटर समुद्री पवन पैटर्न की जानकारी देता है। इस डेटा की मदद से चक्रवात की दिशा और तीव्रता की सही जानकारी मिलती है। इस तकनीक से समय पर चेतावनी जारी करना और सुरक्षा उपायों को लागू करना संभव होता है।
INSAT-3DR की विशेषताएं
INSAT-3DR एक भूस्थिर सैटेलाइट है, जो चक्रवात की वास्तविक समय की जानकारी प्रदान करता है। यह सटीक जानकारी आपदा प्रबंधन रणनीतियों में सहायक होती है।
🚨🌪️ #CycloneFENGAL Update:
— ISRO (@isro) November 28, 2024
ISRO satellites EOS-06 & INSAT-3DR are closely tracking Cyclone FENGAL approaching Tamil Nadu since 23-Nov-2024.
✅ Early Detection: EOS-06 Scatterometer identified ocean wind patterns, providing crucial lead time.
✅ Real-Time Insights:… pic.twitter.com/eFDqtMGTv1
सुरक्षा और तैयारियां
इसरो का डेटा तमिलनाडु में आपदा प्रबंधन एजेंसियों को सतर्क करता है। स्थानीय प्रशासन ने निवासियों को सतर्क रहने की सलाह दी है।
आख़िर तक – याद रखने योग्य बातें
- इसरो के EOS-06 और INSAT-3DR सैटेलाइट चक्रवात फेंगल की निगरानी कर रहे हैं।
- उन्नत तकनीक के उपयोग से समय पर चेतावनी और सुरक्षा उपायों को लागू करना संभव हुआ।
- तमिलनाडु के निवासियों को सतर्क रहने की आवश्यकता है।
Discover more from पाएं देश और दुनिया की ताजा खबरें
Subscribe to get the latest posts sent to your email.