आख़िर तक – एक नज़र में
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी IATA AGM की 81वीं बैठक में शामिल होंगे।
- यह महत्वपूर्ण आयोजन 2 जून को नई दिल्ली के भारत मंडपम में होगा।
- पीएम मोदी वैश्विक विमानन सीईओ और अन्य प्रतिनिधियों को संबोधित करेंगे।
- भारत में यह बैठक 42 वर्षों के अंतराल के बाद हो रही है।
- शिखर सम्मेलन में विमानन उद्योग के प्रमुख मुद्दों पर चर्चा होगी।
आख़िर तक – विस्तृत समाचार
प्रधानमंत्री मोदी IATA की वार्षिक आम बैठक में होंगे शामिल
प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी विश्व स्तरीय हवाई बुनियादी ढांचे के विकास और कनेक्टिविटी बढ़ाने की अपनी प्रतिबद्धता के अनुरूप एक महत्वपूर्ण कार्यक्रम में भाग लेंगे। वह 2 जून को अंतर्राष्ट्रीय हवाई परिवहन संघ (IATA) की 81वीं वार्षिक आम बैठक (AGM) में हिस्सा लेंगे। यह पीएम मोदी IATA AGM सहभागिता नई दिल्ली के प्रतिष्ठित भारत मंडपम में लगभग शाम 5 बजे होगी। इस अवसर पर प्रधानमंत्री उपस्थित जनसमूह को भी संबोधित करेंगे। यह भारत के विमानन क्षेत्र के लिए एक गौरव का क्षण है।
42 वर्षों बाद भारत में IATA AGM
IATA की 81वीं वार्षिक आम बैठक और विश्व हवाई परिवहन शिखर सम्मेलन (WATS) का आयोजन 1 से 3 जून तक किया जाएगा। यह विशेष रूप से उल्लेखनीय है क्योंकि भारत में IATA की आखिरी AGM 42 साल पहले 1983 में हुई थी। इस प्रतिष्ठित आयोजन में 1600 से अधिक प्रतिभागी शामिल हो रहे हैं। इनमें शीर्ष वैश्विक विमानन सीईओ, उद्योग जगत के दिग्गज, सरकारी अधिकारी और अंतर्राष्ट्रीय मीडिया प्रतिनिधि शामिल हैं। यह आयोजन भारत को वैश्विक विमानन मानचित्र पर मजबूती से स्थापित करेगा।
विश्व हवाई परिवहन शिखर सम्मेलन के मुख्य बिंदु
विश्व हवाई परिवहन शिखर सम्मेलन (WATS) विमानन उद्योग के सामने मौजूद प्रमुख मुद्दों पर ध्यान केंद्रित करेगा। चर्चा के मुख्य विषयों में एयरलाइन उद्योग का अर्थशास्त्र शामिल होगा। इसके अतिरिक्त, हवाई कनेक्टिविटी, ऊर्जा सुरक्षा, टिकाऊ विमानन ईंधन उत्पादन जैसे महत्वपूर्ण विषय भी एजेंडे में हैं। वित्तपोषण डीकार्बोनाइजेशन और नवाचारों पर भी गहन विचार-विमर्श होगा। दुनिया भर से आए विमानन नेता और मीडिया प्रतिनिधि भारत के विमानन परिदृश्य में हुए उल्लेखनीय परिवर्तन को भी देख सकेंगे। वे देश के सामाजिक-आर्थिक विकास में इसके योगदान को भी समझेंगे। पीएम मोदी IATA AGM में इन मुद्दों पर भारत का दृष्टिकोण रखेंगे।
भारत के विमानन क्षेत्र का प्रदर्शन
यह आयोजन भारत के लिए अपने तेजी से बढ़ते विमानन क्षेत्र और इसकी भविष्य की योजनाओं को प्रदर्शित करने का एक उत्कृष्ट अवसर है। भारत सरकार ने पिछले कुछ वर्षों में हवाई अड्डों के आधुनिकीकरण, क्षेत्रीय कनेक्टिविटी बढ़ाने और हवाई यात्रा को अधिक सुलभ बनाने के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। वार्षिक आम बैठक में इन उपलब्धियों को वैश्विक मंच पर साझा किया जाएगा। नई दिल्ली में हो रहा यह आयोजन भारतीय विमानन की क्षमता को दर्शाएगा। पीएम मोदी IATA AGM में भारत की विमानन महत्वाकांक्षाओं को और स्पष्ट करेंगे। इस शिखर सम्मेलन से भारतीय विमानन उद्योग को नई दिशा मिलने की उम्मीद है।
आख़िर तक – याद रखने योग्य बातें
- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 2 जून को नई दिल्ली में IATA AGM की 81वीं बैठक में भाग लेंगे।
- वह इस अवसर पर वैश्विक विमानन सीईओ और अन्य प्रतिनिधियों को संबोधित करेंगे।
- भारत 42 वर्षों के लंबे अंतराल के बाद इस प्रतिष्ठित वार्षिक आम बैठक की मेजबानी कर रहा है।
- विश्व हवाई परिवहन शिखर सम्मेलन में विमानन उद्योग के भविष्य और चुनौतियों पर महत्वपूर्ण चर्चा होगी।
- यह आयोजन नई दिल्ली में भारत के बढ़ते विमानन क्षेत्र और इसकी वैश्विक भूमिका को प्रदर्शित करेगा।
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