तिरुपति लड्डू विवाद: सुप्रीम कोर्ट ने विशेष टीम बनाई, सीबीआई करेगी जांच
सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को तिरुपति लड्डू बनाने में घटिया घी का इस्तेमाल होने के आरोपों की जांच के लिए विशेष जांच टीम (SIT) का गठन किया। इस टीम में सीबीआई, राज्य पुलिस और खाद्य सुरक्षा और मानक प्राधिकरण (FSSAI) के सदस्य शामिल होंगे। कोर्ट ने कहा कि यह आरोप दुनियाभर के लोगों की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुँचा सकते हैं।
सुप्रीम कोर्ट की बेंच, जिसमें न्यायमूर्ति बीआर गवई और केवी विश्वनाथन शामिल थे, ने यह भी आदेश दिया कि सीबीआई निदेशक की निगरानी में जांच होगी। कोर्ट ने कहा, “करोड़ों लोगों की भावनाओं को ध्यान में रखते हुए, यह आवश्यक है कि एक स्वतंत्र SIT द्वारा जांच की जाए।”
हालांकि, कोर्ट ने यह भी स्पष्ट किया कि यह आदेश राज्य SIT की स्वतंत्रता और निष्पक्षता पर सवाल नहीं उठाता, बल्कि लोगों की धार्मिक भावनाओं को ठेस न पहुंचे, इस उद्देश्य से समिति का गठन किया गया है। कोर्ट ने इस मामले में आरोपों की वैधता पर कोई टिप्पणी नहीं की, साथ ही इसे राजनीतिक विवाद का आधार बनने से रोका।
तिरुपति लड्डू विवाद: पिछली सुनवाई में क्या हुआ था?
यह विवाद तब उभरा जब आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू ने एक लैब रिपोर्ट का हवाला देते हुए आरोप लगाया कि पिछले YSRCP शासन के दौरान लड्डू बनाने में इस्तेमाल घी में जानवरों की चर्बी और मछली का तेल पाया गया था।
सुप्रीम कोर्ट ने पिछली सुनवाई में मुख्यमंत्री पर बिना पुख्ता सबूत के सार्वजनिक रूप से इस तरह का दावा करने पर कड़ी नाराजगी जताई थी। कोर्ट ने कहा था कि लैब रिपोर्ट में केवल उन घी के नमूनों में अशुद्धियाँ पाई गई थीं जिन्हें पहले ही अस्वीकार कर दिया गया था। इसके बाद राज्य सरकार द्वारा गठित SIT ने इस हफ्ते अपनी जांच रोक दी थी।
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