आख़िर तक – एक नज़र में
- बैंक ऑफ चाइना के पूर्व अध्यक्ष लियू लियांग को रिश्वतखोरी के मामले में मौत की सजा सुनाई गई।
- लियू ने 121 मिलियन युआन (16.8 मिलियन डॉलर) की रिश्वत ली थी।
- अदालत ने उनकी सभी संपत्तियों को जब्त करने का आदेश दिया।
- लियू ने अवैध रूप से 3.32 बिलियन युआन के ऋण को मंजूरी दी थी।
- चीन में भ्रष्टाचार विरोधी अभियान के तहत यह कार्रवाई की गई।
आख़िर तक – विस्तृत समाचार
मामले की पृष्ठभूमि
चीन के जिनान शहर की एक अदालत ने बैंक ऑफ चाइना के पूर्व अध्यक्ष लियू लियांग को भ्रष्टाचार और अवैध ऋण जारी करने के आरोप में मौत की सजा सुनाई है। लियू पर आरोप है कि उन्होंने 121 मिलियन युआन (लगभग 16.8 मिलियन अमेरिकी डॉलर) की रिश्वत ली और अवैध रूप से 3.32 बिलियन युआन के ऋण जारी किए।
अवैध ऋण और संपत्ति जब्ती
अदालत के फैसले के अनुसार, लियू लियांग ने बैंक ऑफ चाइना और एक्सपोर्ट-इम्पोर्ट बैंक में अपने पद का दुरुपयोग किया। उन्होंने अन्य कंपनियों को अनधिकृत ऋण देने में मदद की, जिससे बैंक को भारी नुकसान हुआ।
चीन में भ्रष्टाचार विरोधी अभियान
यह सजा चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग द्वारा चलाए जा रहे भ्रष्टाचार विरोधी अभियान का हिस्सा है। 2012 से अब तक, लाखों अधिकारियों को भ्रष्टाचार के आरोपों में सजा दी जा चुकी है।
आख़िर तक – याद रखने योग्य बातें
- लियू लियांग को रिश्वतखोरी के आरोप में मौत की सजा सुनाई गई।
- उन्होंने 121 मिलियन युआन की रिश्वत ली।
- चीन में भ्रष्टाचार विरोधी अभियान के तहत कार्रवाई।
- सभी अवैध संपत्तियाँ जब्त की जाएंगी।
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