तिब्बत में भूकंप से 100 से अधिक की मौत, भारत में भी महसूस हुए झटके

आख़िर तक
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तिब्बत में भूकंप से 100 से अधिक की मौत, भारत में भी महसूस हुए झटके

आख़िर तक – एक नज़र में:

  1. मंगलवार को तिब्बत में आए 7.1 magnitude के भूकंप ने भारत, नेपाल और भूटान में भी झटके महसूस कराए।
  2. तिब्बत के शिगात्से क्षेत्र में 100 से अधिक लोगों की मौत हो गई और 130 से अधिक लोग घायल हो गए।
  3. भूकंप के बाद कई इमारतें ढह गईं, विशेषकर डिंगरी काउंटी के आसपास के इलाके में।
  4. दिल्ली-NCR, उत्तर भारत के कई हिस्से, और नेपाल के काठमांडू में भी जबरदस्त झटके महसूस हुए।
  5. चीन के CCTV ने बताया कि 6.8 magnitude का भूकंप तिब्बत के शिगात्से शहर में दर्ज किया गया।

आख़िर तक – विस्तृत समाचार:

तिब्बत में भूकंप की तबाही:

मंगलवार की सुबह तिब्बत में आए शक्तिशाली भूकंप ने 100 से अधिक लोगों की जान ले ली और 130 से अधिक लोग घायल हो गए। तिब्बत के शिगात्से क्षेत्र में आए 7.1 magnitude के भूकंप ने चीन, नेपाल, और भारत में जोरदार झटके भेजे। चीन के सरकारी मीडिया ने बताया कि डिंगरी काउंटी और आसपास के इलाके में कई इमारतें धराशायी हो गईं। शिगात्से, तिब्बत का दूसरा सबसे बड़ा शहर, 8 लाख लोगों का घर है और यह क्षेत्र बौद्ध धर्म के एक प्रमुख केंद्र के रूप में जाना जाता है।

भारत और नेपाल में महसूस हुए झटके:

भूकंप के झटके केवल तिब्बत तक सीमित नहीं थे। भारत के दिल्ली-NCR क्षेत्र के अलावा उत्तर भारत के कई अन्य हिस्सों में भी लोग दहशत में आ गए। पटना में भी भूकंप के झटके महसूस किए गए। बिहार समेत पश्चिम बंगाल और उत्तर-पूर्वी राज्यों, जिनमें असम भी शामिल हैं, में इस आपदा के असर से बचने के लिए लोग घरों से बाहर भागे। काठमांडू, नेपाल के निवासी भी अपने घरों से बाहर भागे जब उन्होंने भूकंप के पहले झटके महसूस किए।

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भूकंप का कारण और उसका असर:

नेशनल सेंटर फॉर सिस्मोलॉजी ने बताया कि भूकंप का केंद्र तिब्बत और नेपाल सीमा के पास स्थित था, और इसकी तीव्रता 7.1 मापी गई। भूकंप में हुई गहरी तबाही के बावजूद, विशेषज्ञों के मुताबिक यह हिमालय क्षेत्र में प्लेट टकराव के कारण होता है, जो दुनिया के कुछ सबसे ऊंचे पहाड़ों को आकार देता है। शिगात्से क्षेत्र के आसपास पिछले पांच वर्षों में 29 छोटे भूकंप भी महसूस किए गए, जिनकी तीव्रता 3 से ऊपर थी।

अन्य झटकों की जानकारी:

भूकंप के बाद, तिब्बत के Xizang क्षेत्र में दो और छोटे झटके महसूस किए गए, जिनकी तीव्रता 4.7 और 4.9 थी। चीन के CCTV ने यह जानकारी दी कि इन छोटे झटकों के बावजूद मंगलवार की सुबह आया भूकंप काफी शक्तिशाली था।

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भविष्य की तैयारी:

भूकंप जैसे प्राकृतिक आपदाओं से निपटने के लिए भारत, नेपाल और चीन में सरकारें अपनी तैयारियों का लगातार आकलन कर रही हैं। स्थिति पर नजर रखने के लिए विशेषज्ञों का कहना है कि हिमालय क्षेत्र में प्लेट टकराव के कारण ऐसे भूकंप भविष्य में भी महसूस हो सकते हैं। शिगात्से क्षेत्र में किसी भी प्रकार की आपातकालीन राहत कार्य में तेजी लाने की जरूरत है।

आख़िर तक – याद रखने योग्य बातें:

  1. तिब्बत में भूकंप से 100 से अधिक लोगों की मौत और 130 से अधिक लोग घायल हुए।
  2. 7.1 magnitude का भूकंप तिब्बत, नेपाल और भारत में महसूस हुआ।
  3. शिगात्से में कई इमारतें ढह गईं और व्यापक नुकसान हुआ।
  4. भूकंप के कारण भारत और नेपाल में भी भारी जनहानि की सूचना मिली।
  5. चीन, भारत और नेपाल में आपदा प्रबंधन कार्य तेजी से चल रहे हैं।

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आख़िर तक मुख्य संपादक
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