आख़िर तक – एक नज़र में
- वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट 2025 में ₹12 लाख तक आय पर कोई आयकर न लगाने की घोषणा की।
- नया आयकर स्लैब लागू किया गया है, जिसमें ₹0-4 लाख तक कोई कर नहीं, ₹4-8 लाख पर 5%, ₹8-12 लाख पर 10% कर लगेगा।
- यह बदलाव मध्यवर्ग के लिए बड़ी राहत है, और इसके जरिए सरकार का उद्देश्य खर्च और विकास को बढ़ावा देना है।
- आयकर छूट को 20 वर्षों में सबसे बड़ी वृद्धि मिली है, जिससे करीब 85% रिटर्न फाइल करने वाले लाभान्वित होंगे।
- सरकार ने ₹1 लाख करोड़ से अधिक के कर राजस्व की माफी का ऐलान किया, और इसे आर्थिक विकास में योगदान के रूप में देखा जा रहा है।
आख़िर तक – विस्तृत समाचार
आयकर में बदलाव: एक ऐतिहासिक कदम
बजट 2025 में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आयकर स्लैब को पूरी तरह से नया रूप दिया है। अब तक, ₹7 लाख तक के आयकर छूट की सीमा थी, जो अब बढ़कर ₹12 लाख हो गई है। यह बदलाव मध्यवर्गीय परिवारों के लिए राहत लेकर आया है, जो लंबे समय से टैक्स में कमी की उम्मीद कर रहे थे। यह नया स्लैब विशेष रूप से वेतनभोगी वर्ग के लिए फायदेमंद साबित होगा।
नए आयकर स्लैब की घोषणा
नए स्लैब के अनुसार, अब ₹4 लाख तक की आय पर कोई टैक्स नहीं होगा। ₹4-8 लाख तक आय पर 5% टैक्स, ₹8-12 लाख पर 10% टैक्स, ₹12-16 लाख पर 15% और ₹16-20 लाख पर 20% टैक्स लगेगा। ₹20-24 लाख तक की आय पर 25% और ₹24 लाख से ऊपर की आय पर 30% टैक्स लिया जाएगा। इन स्लैबों को लागू करने का उद्देश्य वेतनभोगियों और छोटे व्यवसायियों के लिए वित्तीय बोझ को कम करना है।
आर्थिक रणनीति का हिस्सा
सरकार का यह कदम भारत की आर्थिक स्थिति को सुदृढ़ करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल है। बढ़ी हुई छूट के साथ सरकार की उम्मीद है कि उपभोक्ताओं की खर्च करने की क्षमता में वृद्धि होगी, जिससे उत्पादन और विकास को बढ़ावा मिलेगा। इस बदलाव को कई विशेषज्ञों ने भारतीय अर्थव्यवस्था के लिए एक सकारात्मक संकेत माना है, जो मंदी से उबरने में मदद करेगा।
वर्षों में सबसे बड़ी कर छूट वृद्धि
आयकर छूट सीमा को ₹12 लाख तक बढ़ाने के साथ ही सरकार ने 20 वर्षों में सबसे बड़ी कर छूट वृद्धि की घोषणा की है। इस निर्णय का प्रभाव लगभग 85% आयकर रिटर्न फाइल करने वालों पर पड़ेगा, जिनके लिए अब कर का बोझ बहुत कम हो जाएगा। इस बदलाव को एक व्यापक रणनीति के रूप में देखा जा रहा है, जिससे सरकार को चुनावी लाभ भी हो सकता है।
सरकार की आर्थिक रणनीति
सरकार ने इस कदम को भारत के आर्थिक विकास को प्रोत्साहित करने के रूप में पेश किया है। इस कदम से लगभग ₹1 लाख करोड़ के राजस्व का नुकसान होगा, लेकिन सरकार की उम्मीद है कि यह कदम भारतीय उपभोक्ताओं की खर्च करने की प्रवृत्तियों में सुधार करेगा। इसके साथ ही, सरकार ने ₹2,600 करोड़ की अप्रत्यक्ष कर माफी की भी घोषणा की।
आख़िर तक – याद रखने योग्य बातें
- बजट 2025 में ₹12 लाख तक आयकर छूट की घोषणा की गई है।
- नए आयकर स्लैब में ₹0-4 लाख तक कोई कर नहीं लगेगा।
- सरकार ने इस कदम को लगभग 85% रिटर्न फाइल करने वालों के लिए फायदेमंद माना है।
- आयकर छूट को 20 वर्षों में सबसे बड़ी वृद्धि मिली है।
- सरकार का यह कदम अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने और उपभोक्ताओं की खर्च करने की क्षमता बढ़ाने के लिए है।
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