आख़िर तक – एक नज़र में
- हमास ने गाजा युद्धविराम समझौते के तहत तीन और इजरायली बंधकों को रिहा किया।
- बंधकों को मानवीय सहायता संगठन रेड क्रॉस को सौंपा गया।
- रिहा किए गए बंधकों के नाम एली शराबी, ओर लेवी और ओहद बेन अमी हैं।
- इन बंधकों को लगभग 500 दिनों तक कैद में रखा गया था।
- यह रिहाई इजरायल के साथ जारी युद्धविराम समझौते का हिस्सा है।
आख़िर तक – विस्तृत समाचार
आतंकवादी समूह हमास ने शनिवार को लगभग 500 दिनों की कैद के बाद मानवीय सहायता संगठन रेड क्रॉस को तीन और इजरायली बंधकों को रिहा कर दिया। ये तीन बंधक – एली शराबी, ओर लेवी और ओहद बेन अमी – इजरायल के साथ जारी युद्धविराम समझौते के हिस्से के रूप में रिहा किए गए थे। हमास (Hamas) ने एक और सकारात्मक कदम उठाया है।
यह रिहाई गाजा में जारी संघर्ष के बीच आई है, और युद्धविराम समझौते के हिस्से के रूप में बंधकों को रिहा करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। बंधकों की रिहाई से बंधक परिवारों और इजरायल के लोगों को कुछ राहत मिली है।
हमास (Hamas) और इजरायल के बीच युद्धविराम समझौता कई मध्यस्थों की मदद से किया गया था, जिसमें कतर और मिस्र शामिल हैं। समझौते के तहत, हमास इजरायली जेलों में बंद कुछ फिलिस्तीनी कैदियों के बदले में बंधकों को रिहा करने पर सहमत हुआ है।
रिहा किए गए बंधकों को चिकित्सा जांच और सहायता के लिए इजरायल ले जाया गया है। बंधकों के परिवारों ने उनकी रिहाई पर खुशी व्यक्त की है और उन सभी लोगों को धन्यवाद दिया है जिन्होंने उनकी रिहाई में मदद की। इजरायल (Israel) ने हमास से सभी बंधकों को रिहा करने की मांग की है।
गाजा में स्थिति तनावपूर्ण बनी हुई है, और दोनों पक्षों के बीच संघर्ष विराम समझौते का पालन करना महत्वपूर्ण है।
आख़िर तक – याद रखने योग्य बातें
हमास ने गाजा युद्धविराम समझौते के तहत 3 और इजरायली बंधकों को रिहा किया। इन बंधकों को लगभग 500 दिनों तक कैद में रखा गया था। यह रिहाई इजरायल के साथ जारी युद्धविराम समझौते का हिस्सा है।
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