आख़िर तक – इन शॉर्ट्स
- शंघाई सहयोग संगठन (SCO) के प्रमुखों की बैठक पाकिस्तान में कड़ी सुरक्षा के बीच शुरू।
- भारत के विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने पाकिस्तान में नौ साल बाद पहली बार यात्रा की।
- सुरक्षा कारणों से इस्लामाबाद और रावलपिंडी में लॉकडाउन, जनजीवन प्रभावित।
आख़िर तक – इन डेप्थ
एससीओ शिखर सम्मेलन: पाकिस्तान में कड़ी सुरक्षा के बीच जयशंकर की ऐतिहासिक यात्रा
पाकिस्तान की राजधानी इस्लामाबाद में शंघाई सहयोग संगठन (SCO) की प्रमुखों की परिषद की 23वीं बैठक की शुरुआत हुई है। यह बैठक ऐसे समय में हो रही है जब दोनों देशों के बीच तनावपूर्ण संबंध हैं, खासकर कश्मीर मुद्दे और सीमा पार आतंकवाद के कारण। इस महत्वपूर्ण बैठक में भारत के विदेश मंत्री एस. जयशंकर शामिल हो रहे हैं, जो पाकिस्तान में उनकी नौ साल में पहली यात्रा है।
इस बैठक में सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए हैं। इस्लामाबाद और इसके पड़ोसी शहर रावलपिंडी में महत्वपूर्ण मार्गों और व्यवसायों को बंद कर दिया गया है। राजनीतिक अस्थिरता और उग्रवाद से निपटने के लिए पाकिस्तानी सेना और पुलिस को तैनात किया गया है।
मुख्य घटनाक्रम और सुरक्षा व्यवस्था
बैठक के लिए पाकिस्तानी प्रशासन ने व्यापक सुरक्षा उपाय किए हैं। इस्लामाबाद में सुरक्षा बलों की तैनाती बढ़ाई गई है और प्रमुख स्थानों पर पुलिस और अर्धसैनिक बलों का कड़ा पहरा है। रेड ज़ोन, जहां संसद, राजनयिक क्षेत्र और सम्मेलन स्थल स्थित हैं, पूरी तरह से सेना के नियंत्रण में है।
पाकिस्तानी प्रधानमंत्री द्वारा मेजबानी में इस सम्मेलन की शुरुआत एक स्वागत समारोह से हुई। आधिकारिक कार्यक्रमों में दस्तावेज़ों पर हस्ताक्षर और नेताओं के बयान शामिल हैं। इसके साथ ही भारतीय विदेश मंत्री जयशंकर और अन्य प्रमुख नेताओं के लिए एक भोज का भी आयोजन किया गया है।
दोनों देशों के बीच रिश्तों पर असर
हालांकि, इस शिखर सम्मेलन के दौरान भारत और पाकिस्तान के बीच कोई द्विपक्षीय बातचीत नहीं होगी। जयशंकर ने पहले ही स्पष्ट कर दिया था कि सीमा पार आतंकवाद के मुद्दे को नजरअंदाज करके भारत और पाकिस्तान के बीच अच्छे संबंध संभव नहीं हैं।
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